वर्ष का बाईसवाँ सप्ताह, शुक्रवार - वर्ष 1

📕पहला पाठ

कलोसियों के नाम सन्त पौलुस का पत्र 1:15-20

"सब कुछ उनके द्वारा और उनके लिए सृष्ट किया गया है।"

येसु मसीह अदृश्य ईश्वर के प्रतिरूप तथा समस्त सृष्टि के पहलौठे हैं; क्योंकि उन्हीं के द्वारा सब कुछ की सृष्टि हुई है। सब कुछ – चाहे वह स्वर्ग में हो या पृथ्वी पर, चाहे दृश्य हो या अदृश्य, और स्वर्गदूतों की श्रेणियाँ भी सब कुछ उनके द्वारा और उनके लिए सृष्ट किया गया है। वह समस्त सृष्टि के पहले से विद्यमान हैं और समस्त सृष्टि उन में ही बनी हुई है। वही शरीर अर्थात् कलीसिया के शीर्ष हैं। वही मूल कारण हैं और मृतकों में से प्रथम जी उठने वाले भी, इसलिए वह सभी बातों में सर्वश्रेष्ठ हैं। ईश्वर ने चाहा कि उन में सब प्रकार की परिपूर्णता हो। मसीह ने क्रूस पर जो रक्त बहाया है, उसके द्वारा ईश्वर ने शांति की स्थापना की। इस तरह ईश्वर ने उन्हीं के द्वारा सब कुछ का, चाहे वह पृथ्वी पर हो या स्वर्ग में, अपने से मेल कराया है।

प्रभु की वाणी।

📖भजन : स्तोत्र 99:2-5

अनुवाक्य : उल्लास के गीत गाते हुए प्रभु के सामने उपस्थित हो जाओ !

1. हे समस्त पृथ्वी ! प्रभु की स्तुति करो ! आनन्द के साथ प्रभु की सेवा करो ! उल्लास के गीत गाते हुए उसके सामने उपस्थित हो जाओ !

2. यह जान लो कि वही ईश्वर है। उसी ने हम को बनाया है हम उसी के हैं। हम उसकी प्रजा, उसके चरागाह की भेड़ें हैं।

3. धन्यवाद देते हुए उसके मंदिर में प्रवेश करो, भजन गाते हुए उसके प्रांगण में आ जाओ उसकी स्तुति करो और उसका नाम धन्य कहो।

4. ओह ! ईश्वर कितना भला है ! उसका प्रेम चिरस्थायी है, उसकी सत्यप्रतिज्ञता युगानुयुग बनी रहती है।

📒जयघोष

अल्लेलूया ! प्रभु कहते हैं, "संसार की ज्योति मैं हूँ। जो मेरा अनुसरण करता है, उसे जीवन की ज्योति प्राप्त होगी।" अल्लेलूया !

📙सुसमाचार

लूकस के अनुसार पवित्र सुसमाचार 5:33-39

"जब दुलहा उन से बिछुड़ जायेगा, तब वे उपवास करेंगे।"

फ़रीसियों और शास्त्रियों ने येसु से कहा, "योहन के शिष्य बारंबार उपवास करते हैं और प्रार्थना में लगे रहते हैं और फ़रीसियों के शिष्य भी ऐसा ही करते हैं, किन्तु आपके शिष्य खाते-पीते हैं।" येसु ने उन से कहा, "क्या जब तक दुलहा उनके साथ है, तुम बरातियों से उपवास करा सकते हो? किन्तु वे दिन आयेंगे, जब दुलहा उन से बिछुड़ जायेगा। उन दिनों वे उपवास करेंगे।" येसु ने उन्हें यह दृष्टान्त भी सुनाया, "कोई नया कपड़ा फाड़ कर पुराने कपड़े में पैवंद नहीं लगाता। नहीं तो वह नया कपड़ा फाड़ देता है और नये कपड़े का पैवंद पुराने कपड़े के साथ मेल भी नहीं खाता। और कोई पुरानी मशकों में नयी अंगूरी नहीं भरता। नहीं तो नयी अंगूरी मशकों को फाड़ देगी, अंगूरी बह जायेगी और मशकें भी बरबाद हो जायेंगी। नयी अंगूरी को नयी मशकों में ही भरना चाहिए।" "कोई पुरानी अंगूरी पी कर नयी नहीं चाहता। वह तो कहता है, 'पुरानी ही अच्छी है'।"

प्रभु का सुसमाचार।