वर्ष का इकतीसवाँ सप्ताह, बृहस्पतिवार - वर्ष 1

📕पहला पाठ

फिलिप्पियों के नाम सन्त पौलुस का पत्र 3:3-8

"मैं जिन बातों को लाभ समझता था, उन्हें मसीह के कारण हानि समझने लगा।”

सच पूछिए, तो "खतने वाले" हम हैं। हम आत्मा से प्रेरित हो कर ईश्वर की उपासना करते हैं और 'शरीर' पर नहीं, बल्कि येसु मसीह पर गौरव करते हैं हालाँकि मैं भी 'शरीर' पर गौरव कर सकता हूँ। यदि कोई यह समझता है कि वह 'शरीर' पर गौरव कर सकता है, तो मैं और भी ऐसा कर सकता हूँ। आठवें दिन मेरा खतना हुआ था। मैं इस्राएली, बेनयामिन-वंशी और इब्रानियों की इब्रानी सन्तान हूँ। संहिता पालन की दृष्टि से मैं फरीसी था; मेरा धर्मोत्साह ऐसा था कि मैंने कलीसिया पर अत्याचार किया। संहिता पर आधारित धार्मिकता की दृष्टि से मैं निर्दोष था। किन्तु मैं जिन बातों को लाभ समझता था, उन्हें मसीह के कारण हानि समझने लगा हूँ। इतना ही नहीं, मैं प्रभु येसु मसीह को जानना सर्वश्रेष्ठ लाभ मानता हूँ और इस ज्ञान की तुलना में हर वस्तु को हानि ही मानता हूँ।

📖भजन : स्तोत्र 104:2-7

अनुवाक्य : प्रभु को खोजने वालों का हृदय आनन्दित हो। (अथवा : अल्लेलूया!)

1. प्रभु के आदर में गीत गाओ, उसकी स्तुति करो - उसके अपूर्व कार्यों का बखान करो। उसके पवित्र नाम पर गौरव करो। प्रभु को खोजने वालों का हृदय आनन्दित हो।

2. प्रभु और उसके सामर्थ्य का मनन करो, उसके दर्शनों के लिए तरसते रहो। उसके अपूर्व कार्य, उसके चमत्कार तथा उसके निर्णय याद रखो।

3. हे प्रभु-भक्त इब्राहीम की सन्तति! हे प्रभु के कृपापात्र याकूब के पुत्रो! प्रभु ही हमारा ईश्वर है, उसके निर्णय समस्त पृथ्वी पर लागू हैं।

📒जयघोष

अल्लेलूया! प्रभु कहते हैं, "थके-माँदे और बोझ से दबे हुए लोगो! तुम सब के सब मेरे पास आओ, मैं तुम्हें विश्राम दूँगा।" अल्लेलूया!

📙सुसमाचार

लूकस के अनुसार पवित्र सुसमाचार 15, 1-10

"एक पश्चात्तापी पापी के लिए स्वर्ग में आनन्द मनाया जायेगा।”

येसु का उपदेश सुनने के लिए नाकेदार और पापी उनके पास आया करते थे। फरीसी और शास्त्री यह कह कर भुनभुनाते थे, "यह मनुष्य पापियों का स्वागत करता है और उनके साथ खाता-पीता है।" इस पर येसु ने उन को यह दृष्टान्त सुनाया, "यदि तुम्हारे एक सौ भेड़ें हों और उन में से एक भी भटक जाये, तो तुम लोगों में ऐसा कौन होगा जो निन्यानबे भेड़ों को निर्जन प्रदेश में छोड़ कर न चला जाये और उस भटकी हुई को तब तक न खोजता रहे, जब तक वह उसे नहीं पाये? पाने पर वह आनन्दित हो कर उसे अपने कंधों पर रख लेता है और घर आ कर अपने मित्रों और पड़ोसियों को बुलाता है और उन से कहता है, 'मेरे साथ आनन्द मनाओ, क्योंकि मैंने अपनी भटकी हुई भेड़ को पा लिया है'। मैं तुम से कहता हूँ, उसी प्रकार निन्यानबे धर्मियों की अपेक्षा, जिन्हें पश्चात्ताप की आवश्यकता नहीं है, एक पश्चात्तापी पापी के लिए स्वर्ग में अधिक आनन्द मनाया जायेगा।” "अथवा कौन स्त्री ऐसी होगी जिसके पास दस सिक्के हों और उन में से एक भी खो जाये, तो बत्ती जला कर और घर बुहार कर सावधानी से तब तक न खोजती रहे, जब तक वह उसे नहीं पाये? पाने पर वह अपनी सखियों और पड़ोसिनों को बुला कर कहती है, 'मेरे साथ आनन्द मनाओ, क्योंकि मैंने खोया हुआ सिक्का पा लिया है'। मैं तुम से कहता हूँ, उसी प्रकार ईश्वर के दूत एक पश्चात्तापी पापी के लिए आनन्द मनाते हैं।"

प्रभु का सुसमाचार।